नैनीताल। बोट हाउस क्लब के इस वर्ष के चुनाव बीते रविवार को संपन्न हुए। लेकिन चुनाव से पहले चार उम्मीदवार सुमित जेठी, सईद शेरवानी, इंदर पाल सिंह और विशाल विनायक ने ऑनलाइन वोटिंग को लेकर नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (एनसीएलटी) में याचिका दायर की थी, जिसके कारण अब एनसीएलटी के द्वारा एजीएम के निर्णय पर रोक लगा दी गई है। इसलिए अभी नई कार्यकारिणी का गठन नहीं हो सकेगा
मालूम हो कि एनसीएलटी के सदस्यों हरनाम सिंह ठाकुर, सुब्रत कुमार ने दायर याचिका पर निर्देश दिए थे कि चुनाव प्रक्रिया से पूर्व 24 सितंबर को कार्यकारिणी की वार्षिक बैठक कर ली जाए, लेकिन अग्रिम आदेशों तक इसमें लिए निर्णय लागू नहीं किए जाएं। इस मामले की अगली सुनवाई 29 नवंबर को होनी है। अब ट्रिब्यूनल का निर्णय आने के बाद ही कार्यकारिणी के गठन की कार्रवाई आगे बढ़ाई जा सकेगी।
क्योंकि इस बार पहली बार बोट हाउस क्लब में चुनाव प्रक्रिया में ऑनलाइन वोटिंग को शामिल किया गया था, जिस पर आपत्ति जताते हुए कुछ लोगों ने चुनाव से पहले ही ट्रिब्यूनल में याचिका दायर कर दी थी। खास बात यह भी है कि याचिका दायर करने वालों में कुछ सदस्य विजयी गुट से थे।
रविवार को घोषित परिणाम में ये रहे थे आगे
रविवार को क्लब के चुनाव परिणाम घोषित किए गए थे, जिनमें बताया गया था कि कुल ऑनलाइन वोट 1058 और ऑफलाइन वोट 628 पड़े हैं। इनमें प्रबंध कमेटी के नौ सदस्यों के परिणामों में पहले स्थान पर धीर सिंह को 946 मत, दूसरे स्थान पर अखिल शाह को 898 मत, तीसरे स्थान पर शोएब अहमद को 888 मत, चौथे स्थान पर मुकुंद प्रसाद को 885 मत, पांचवें स्थान पर सुमित जेठी को 846 मत, छठे स्थान पर एमसी पांडेय को 829 मत, सातवें स्थान पर नसीम खान को 813 मत, आठवें स्थान पर डीके शर्मा को 775 मत, नवें स्थान पर जेएस सरना को 753 मत मिले थे। क्लब के कुल मतदाता 3700 थे। कुल दावेदार 18 थे।